1/19/2009

हरिवंश राय बच्चन के पत्र अभिज्ञात के नाम


प्रस्तुत है यहां डॉ.हरिवंशराय बच्चन के मुझे लिखे कुछ पत्रों के अंश जो मेरे रचनात्मक विकास में सहायक हुए और जो इस बात के गवाह हैं कि कितने धीरज और प्यार से एक महान बुजुर्ग कवि अपनी नयी पीढ़ी को रास्ता बताता है।
पत्र-एक(हस्तलिपि)
बच्चन
'प्रतीक्षा'
दसवां रास्ता-जुहू
बंबई-उंचास
400049
11.4.83
प्रिय श्री
पत्र के लिए धन्यवाद।
प्रसन्नता है साहित्य के स्वाध्याय सृजन में आपकी रुचि है. मुक्त जीवन अनुभव, व्यापक स्वाध्याय, सतत अभ्यास और सुरुचिपूर्ण साहित्यकारों के सत्संग से आपके सर्जक का विकास होगा. आगे पत्र-व्यवहार का पताः
'सोपान', गुलमोहर पार्क, नई दिल्ली
भवदीय
बच्चन
पत्र-दो(हस्तलिपि)
हरिवंश राय बच्चन
'सोपान'
बी-8, गुलमोहर पार्क, नई दिल्ली -49
प्रिय श्री
पत्र के लिए ध.
वामा मेरे पास नहीं आती। कटिंग भेज सकें तो आपकी कहानी पढ़ूंगा।
कहानी लौट आये तो कहानी का दोष समझें. सम्पादक का नहीं. और अच्छी कहानी भेजें। और पत्रिकाओं में भेजें.
ओक समय बर्नार्डशा के लेख भी लौट आते थे.10 में 9. वह 100 लेख भेजता था, दस तो छपेगा। शेष सामान्य. शु.का.
बच्चन
पत्रःतीन(टाइप किया हुआ पत्र)
हरिवंश राय बच्चन
'सोपान'
बी-8, गुलमोहर पार्क, नई दिल्ली -49
8 अगस्त, 1986
प्रिय श्री,
आपका पत्र मिला। प्रकाशक से मेरा कोई सम्बंध नहीं है। मैं इस विषय में आपको कोई राय नहीं दे सकता।
भवदीय
बच्चन
(हरिवंशराय बच्चन)
पत्रःचार हस्तलिपि)
दीपावली की बधाई के लिए शुभकामनाएं
बच्चन
1983
'दिन को होली
रात दिवाली
रोज़ मनाती मधुशाला'
पत्रः पांच (हस्तलिपि)
'सोपान', गुलमोहर पार्क, नई दिल्ली
23.10.83
प्रिय श्री हृदय बेमिसाल जी
नमस्ते
पत्र के लिए धन्यवाद.सद्भवना के लिए आभारी हूं। आपकी योजनाओं की सफलताओं के लिए मेरी शुभकामनाएं। अवस्था ( मैं 76 वां पूरा कर रहा हूं) और अस्वस्था के कारण यात्राएं मेरे लिए कष्टकर हो गयी हैं। सशरीर मैं उपस्थित होने में असमर्थ हूं। क्षमा करेंगे। शेष सामान्य। शुभकामनाएं.
भवदीय
बच्चन
पत्रःछह(हस्तलिपि)
जन्म दिन की बधाई के लिए धन्यवाद. शुभकामनाएं.
बच्चन
83
'सूख रही है
दिन-दिन संगी
मेरी जीवन मधुशाला'
'सोपान'
गुलमोहर पार्क
नयी दिल्ली
पत्रःसात(हस्तलिपि)
हरिवंश राय बच्चन
'सोपान'
बी-8, गुलमोहर पार्क, नई दिल्ली -49
नये साल की बधाई
शु.के लिए सधन्यवाद, शुभनामनाएं।
लेखक का सबसे बड़ा पुरस्कार है कि जनता उसे पढ़े। जो भी काम करें उसमें पूर्णतया अपने को लगा दें।
बच्चन
13.1.85
पत्रःआठ (हस्तलिपि)
'सोपान', बी-8, गुलमोहर पार्क, नई दिल्ली
6.12.83
प्रिय श्री
पत्र के लिए धन्यवाद
अपनी परिस्थितियों और योग्यता क्षमता को देखकर अपने भविष्य की दिशा आपको निश्चित करनी है। किसी भी दिशा में जायं संघर्ष तो करना ही होगा परिणाम की गारंटी कौन दे सकता है। आप समझते है कि फ़िल्मों में आप गीत लिख सकते हैं या फ़िल्मों के लिए कहानी तो आप बंबई जाकर प्रोड्यूसरों और म्यूज़िक डायरेक्टरों से मिलें। उन्हें अपनी योग्यता का सबूत दें। संभव है वे आपको मौका दें। वहां किसी की सिफारिश से काम नहीं होता। आपका काम आपकी सिफारिश होगा। यह पहले से जान लें कि आपको मौका देने को वे आपको नहीं देंगे।
देंगे तो इसलिए कि आपको देकर वे अपने आर्थिक उद्योग में सफल तो हो सकेंगे या नहीं। तरजीह नये के ऊपर जाने-माने तो दी जाती है यह भी यथार्थ है और जाने-माने कितने लोग हैं। जो अपना स्थान बना चुके हैं पर नये लोग भी अपनी राह बनाते हैं। मैं आपको अपनी शुभकामनाएं दे सकता हूं और कुछ नहीं। आप अपने अभियान में सफल हों।
भवदीय
बच्चन
पत्रःनौ(हस्तलिपि)
'सोपान', गुलमोहर पार्क. नई दिल्ली
8.6.85
प्रिय श्री
आपका कार्ड मिला और कुछ आपकी ओर से नहीं मिला। आशा है आपका काम पसंद किया जायेगा और आगे आपको और काम मिलेगा।
मेरी शुभकामनाएं।
बच्चन

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